भारत पहुंचा फ्रांस में रोका गया विमान..जानिए इसके पीछे की बड़ी वजह

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Human Trafficking: मानव तस्करी के शक में फ्रांस में 4 दिन रोका गया प्लेन (Plane) बाद मंगलवार सुबह मुंबई ले आया गया। इसने 25 दिसंबर की शाम पेरिस के वाट्री एयरपोर्ट (Paris Vatri Airport) से उड़ान भरी थी। यह मंगलवार सुबह 4 बजे मुंबई एयरपोर्ट पर लैंड हुआ। पढ़िए पूरी खबर…

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मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सुबह करीब 4:30 बजे रिपोर्ट दी कि इस फ्लाइट से 276 लोग लौटे हैं। एयरपोर्ट पर पहुंचते ही सीआईएसएफ (CISF) ने उनसे पूछताछ की। वहीं कई लोग मीडिया के सवालों का जवाब देने से बचने के लिए भागते नजर आए। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इनमें ज्यादातर लोग पंजाब, गुजरात और दक्षिण भारत के बताए जा रहे हैं।

भारत ने फ्रांस का शुक्रिया अदा किया

फ्रांस में भारतीय दूतावास (Indian Embassy In France) ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर कहा है कि भारतीय यात्रियों को घर लौटने के मामले को सुलझाने के लिए फ्रांसीसी सरकार और वैट्री एयरपोर्ट का धन्यवाद। साथ ही यात्रियों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए मौके पर मौजूद दूतावास टीम के साथ मिलकर काम करने के लिए भी धन्यवाद। भारत में एजेंसियों का भी आभार।

बता दें कि 22 दिसंबर को दुबई से निकारागुआ (Nicaragua) जा रहे भारतीय नागरिकों वाला विमान वाट्री एयरपोर्ट पर ईंधन भरने के लिए उतरा था। इस दौरान फ्रांस के अधिकारियों को सूचना मिली कि इसमें मानव तस्करी के पीड़ितों को ले जाया जा रहा है। जिसके बाद फ्लाइट को उड़ान भरने से रोक दिया गया था।

मानव तस्करी के शक में पकड़े गए दो आरोपी रिहा

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इस प्लेन से 300 यात्री (Passenger) भारत आ रहे हैं। इनमें से 25 भारतीयों ने फ्रांस में शरण मांगी है। इन्हें पेरिस के स्पेशल जोन चार्ल्स द गॉल एयरपोर्ट पर उस जगह भेज दिया गया है। जहां शरण मांगने वालों को रखा जाता है। फ्रांस की पुलिस ने उन 2 लोगों को भी रिहा कर दिया है।

जिनसे मानव तस्करी के शक में पूछताछ की जा रही थी। इन पर फ्रेंच लॉ (French Law) के अनुसार केस चलने वाला था। लेकिन जब उन्हें एक जज के सामने पेश किया गया तो दोनों को रिहा कर दिया गया। दोनों लोगों को विटनेस स्टेटस पर रखा गया है।

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जानिए क्या था पूरा मामला?

आपको बता दें कि 21 दिसंबर को रोमानिया की चार्टर कंपनी का एक प्लेन दुबई से निकारागुआ (Dubai to Nicaragua) के लिए उड़ान भरता है। वहीं 23 दिसंबर को इस प्लेन का फ्रांस के वाट्री एयरपोर्ट पर फ्यूल और टेक्निकल मेंटेनेंस के लिए उतरना पहले से तय था।

लैंडिंग के कुछ देर बाद ही फ्रांस पुलिस (French Police) की कई गाड़ियां यहां पहुंचीं और एयरक्राफ्ट को कब्जे में ले लिया। फ्रांस को शक था कि इस प्लेन में मौजूद लोगों की तस्करी हो रही थी। फ्रांस की एंटी ऑर्गनाइज्ड क्राइम यूनिट को इस मामले की जांच सौंपी गई।

जिस एयरक्राफ्ट (Aircraft) को वाट्री एयरपोर्ट पर पुलिस ने रोका था। पुलिस के अनुसार यह A340 एयरक्राफ्ट है। रोमानिया की लीजेंड एयरलाइंस ने इस प्लेन को कुछ लोगों के लिए बुक किया था। फ्रांस ने मानव तस्करी के शक में प्लेन में मौजूद 2 लोगों को अलग से हिरासत में लिया और उनसे कड़ाई से पूछताछ की।

वाट्री एयरपोर्ट पर रिसेप्शन हॉल को वेटिंग एरिया में बदल दिया गया और सभी यात्रियों को वहां रखा गया। रिपोर्ट के मुताबिक प्लेन में 11 नाबालिग थे। इनके लिए एड-हॉक ट्यूटर भी रखे गए थे। पूरे इलाके को कवर कर रखा गया था। यहां रोज भारत के अधिकारी उनसे मुलाकात कर रहे थे। वहीं फ्रांस ने फ्लाइट ऑपरेट कर रहे प्राइवेट जेट के क्रू मेंबर्स से भी पूछताछ की थी। इसके बाद उन्हें आजाद कर दिया गया था।

फ्रांस में विदेशी नागरिकों को 4 दिन से ज्यादा हिरासत में नहीं रख सकते। इसके लिए जज से परमिशन लेनी पड़ती है, जो उनकी हिरासत को 8 दिन बढ़ा सकते हैं। लेकिन गंभीर मामलों में हिरासत का वक्त 24 दिन भी किया जा सकता है।

24 दिसंबर को फ्रांस (France) की एक कोर्ट के 4 जजों ने क्रिसमस की छुट्टियों में भी काम करते हुए हिरासत में रखे गए यात्रियों से पूछताछ करने बाद विमान के रवाना होने के आदेश दिए थे। इसके बाद 25 दिसंबर को भारतीयों के प्लेन को उड़ान भरने की इजाजत दे दी गई।

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11 भारतीय नाबालिग है जिनके पेरेंट्स साथ नहीं

300 भारतीयों में एक 21 महीने का बच्चा और 11 भारतीय (Indian) नाबालिग है। जिनके माता-पिता उनके साथ नहीं हैं। जजों की पूछताछ के दौरान कुछ लोग हिंदी में बात कर रहे थे तो कुछ लोग तमिल भाषा बोल रहे थे। ऐसे में अनुमान लगाया जा रहा है कि प्लेन में साउथ इंडिया के लोग भी मौजूद थे।

एयरपोर्ट पर ही रहने-खाने का था इंतजाम

फ्रांस ने सभी लोगों के लिए एयरपोर्ट पर ही रहने और खाने की व्यवस्था की थी। बच्चों की पढ़ाई के लिए ट्यूटर रखे गए थे। यहां रोज भारत के अधिकारी उनसे मुलाकात कर रहे थे। वहीं, फ्रांस ने फ्लाइट ऑपरेट कर रहे प्राइवेट जेट के क्रू मेंबर्स से भी पूछताछ की थी। इसके बाद उन्हें आजाद कर दिया गया था।

एयरलाइंस का आरोपों से इनकार

एयरलाइंस की वकील ने मानव तस्करी (Human Trafficking) में किसी भी तरह से शामिल होने से इनकार किया है। फ्रांस में मानव तस्करी के लिए 20 साल तक की सजा का प्रावधान है। रिपोर्ट के मुताबिक यात्रियों ने सेंट्रल अमेरिका के निकारागुआ के जरिए अवैध रूप से अमेरिका या कनाडा में घुसने की योजना बनाई होगी। गुमनाम सूचना पर इसे रोका गया था।