यू-ट्यूबर एल्विश यादव गिरफ्तार..जानिए नोएडा पुलिस ने कहां से पकड़ा ?

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Elvish Yadav: यूट्यूबर एल्विश यादव को नोएडा पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुलिस ने उन्हें रविवार को पूछताछ के लिए बुलाया गया था। पुलिस ने सांप के जहर की तस्करी के मामले में यह कार्रवाई की है। पिछले साल नोएडा पुलिस ने सेक्टर-39 में एफआईआर दर्ज की थी। आज एल्विश यादव को पूछताछ के लिए बुलाया गया था, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। एल्विश यादव को कुछ देर में कोर्ट में पेश किया जाएगा।

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Elvish Yadav को किया गया गिरफ्तार

Elvish Yadav की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। सांपों के जहर के मामले में Noida Police ने उनके खिलाफ एक्शन ले लिया है। यूट्यूबर को परपार्टी में स्नेक पॉयजन इस्तेमाल करने के गंभीर आरोप लगा है। आज एल्विश यादव को पूछताछ के लिए बुलाया गया था, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। एल्विश यादव को कुछ देर में कोर्ट में पेश किया जाएगा।

आखिरकार क्या है पूरा मामला

दरअसल, 8 नवंबर को Noida Police ने एक रेव पार्टी में स्नेक पॉयजन के इस्तेमाल के मामले में FIR दर्ज की थी। इस केस में एल्विश भी आरोपी है। पुलिस ने पांच लोगों को गिरफ्तार किया था। जिसमें जयकरण, राहुल, टीटूनाथ, नारायण और रविनाथ शामिल थे। इसमें से एक राहुल नामक व्यक्ति के पास से पुलिस को 20 ml जहर भी मिला था।

Elvish Yadav ने सफाई के तौर पर कही थी ये बात

जब से मामला सामने आया था तब एल्विश ने अपनी सफाई देते हुए इंस्टाग्राम पर वीडियो शेयर किया था। उन्होंने कहा कि मैं सुबह सुबह उठा। मैंने न्यूज में देखा कि Elvish Yadav नशीले पदार्थ के बिज़नेस में शामिल है। वो अरेस्ट हो गए हैं। मैं बता दूं की मेरे खिलाफ जितने भी चार्ज चल रही हैं वो सारी फेक है और मेरा इनसे कोई लेना देना नहीं है।

यूट्यूबर के खिलाफ इन एक्ट के तहत दर्ज किया गया है मामला

यूट्यूबर के खिलाफ आईपीसी की धारा 284, 289, 120 बी और वाइल्ड लाइफ प्रोटेक्शन एक्ट- 1972 की धारा 9, 39, 48, 49, 50, 51 के तहत केस दर्ज हुआ है. अब इस मामले में आरोपियों के पास से बरामद हुए स्नेक वेनम को जाँच के लिए भेज दिया गया था. जो भी रिपोर्ट्स वहां से मिली है उसके बाद एनडीपीएस एक्ट की धाराएं बढ़ा दी गई हैं. इन धाराओं के लगने के बाद अब Elvish की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. हम आपको इन धाराओं के तहत मिलने वाली सजा के बारे में डिटेल में बताते हैं:

एनडीपीएस एक्ट: इसे नारकोटिक ड्रग्स एन्ड साइकोट्रॉपिक सब्सटांस एक्ट- 1985 भी कहा जाता है. इसका इस्तेमाल नशीले पदार्थों को बनाने, खरीदने-बेंचने और सेवन करने के खिलाफ किया जाता है. इसमें गांजा, चरस, अफीम, हेरोइन, मॉर्फिन, कोकेन, एलएसडी, एमएसडी और अल्प्राजोलम आते हैं.

सजा: 10 से 20 साल तक की जेल और एक से दो लाख रूपये तक का जुर्माना

वाइल्ड लाइफ प्रोटेक्शन एक्ट: वाइल्ड लाइफ प्रोटेक्शन एक्ट- 1972 में 66 धाराएं और 6 अनुसूचियाँ हैं. इन अनुसूचियों के तहत जितने भी वन में रहने वाले जीव हैं उनकी सुरक्षा की जाती है. पहली अनुसूची में जंगली और पक्षियों को सुरक्षा मिलती है. इस सूची में 43 वन्यजीव शामिल हैं.

सजा: 3 से 7 साल तक की जेल

आईपीसी की धारा 284: भारतीय दंड सहिंता की धारा 284 उस व्यक्ति पर लगाई जाती है, जो कि जेहरीले पदार्थों का यूज़ लापरवाही से करता है, क्योकि इससे दूसरों को नुकसान पहुंचने की संभावना बढ़ जाती है.

सजा: 6 महीने तक जेल और एक हजार रुपये जुर्माना

आईपीसी की धारा 120बी- भारतीय दंड संहिता की धारा 120बी किसी भी अपराध को अंजाम देने के लिए मिलकर साजिश रचने के लिए लगाई जाती है. इसमें जरूरी नहीं होता कि आरोपी खुद अपराध को अंजाम दे. वह ऐसी साजिश का हिस्सा भी हो सकता है.

सजा- उम्रकैद या 2 साल या उससे अधिक समय के लिए कठोर कारावास की सजा.