Punjab में पंचायत चुनाव से पहले बीजेपी को बड़ा झटका लगा है।
Punjab News: पंजाब में 15 अक्टूबर को होने वाले पंचायत चुनाव (Panchayat Elections) से पहले बीजेपी को बड़ा झटका लगा है। सूत्रों की मानें तो बीजेपी प्रदेश प्रमुख सुनील जाखड़ (Sunil Jakhar) ने अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है। लेकिन बीजेपी सूत्रों के मुताबिक सुनील जाखड़ के इस्तीफे पर फिलहाल केंद्रीय नेतृत्व को कोई अधिकारिक सूचना नहीं है। पढ़िए पूरी खबर…
ये भी पढ़ेः Punjab Panchayat चुनाव की तारीखों का ऐलान, 27 सितंबर से नामांकन, जानिए कब डाले जाएंगे वोट
ख़बरीमीडिया के Whatsapp ग्रुप को फौलो करें https://whatsapp.com/channel/0029VaBE9cCLNSa3k4cMfg25
बताया जा रहा है कि वे पार्टी से नाराज चल रहे थे। यही कारण है कि वे गुरुवार को पंचायत चुनावों की तैयारियों को लेकर रखी बैठक में भी शामिल नहीं हुए। जब इसे लेकर एक बीजेपी नेता ने उन्हें फोन किया तो उन्होंने बैठक में शामिल होने से मना कर दिया। आगे से भी किसी बैठक में शामिल न होने की बात कही।
पत्र लिखकर इस्तीफा देने की पेशकश
सूत्रों के अनुसार रवनीत सिंह बिट्टू को केंद्र में मंत्री बनाए जाने से भी वे पार्टी से नाखुश थे। उन्हें लग रहा था कि वे काफी सीनियर हैं, इसके बावजूद उनकी उपेक्षा कर बिट्टू को मंत्री बना दिया गया। सुनील जाखड़ (Sunil Jakhar) ने गृहमंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर इस्तीफा देने की पेशकश की है।
पद से क्यों दिया इस्तीफा?
माना जा रहा है कि सुनील जाखड़ (Sunil Jakhar) की नाराजगी के दो कारण हैं। एक तो पंजाब बीजेपी में बाहरी बनाम पुराने का मुद्दा चरम पर है और दूसरा पार्टी ने राज्यसभा में भेजने को लेकर भी उन्हें तवज्जो नहीं दी। जानकारी के मुताबिक सुनील जाखड़ के इस्तीफा देने के प्रस्ताव वाले पत्र के बाद ही गृहमंत्री ने उन्हें बुलाया था। जिसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ से भी उन्हें मिलने के लिए बुलाया गया था।
ये भी पढ़ेः Punjab: सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी, 31 दिसंबर तक मिल सकता है छठे वेतन आयोग का लाभ…
पंजाब में 15 अक्टूबर को पंचायत चुनाव
पंजाब में 2 दिन पहले ही पंचायती चुनाव (Panchayat Elections) का ऐलान हुआ था। 15 अक्टूबर को वोटिंग होंगी। इसी दिन रिजल्ट भी आएंगे। 27 से 4 अक्टूबर तक पंच व सरपंच पद के लिए नॉमिनेशन दाखिल कर सकते हैं। करीब 4 महीने पहले हुए लोकसभा चुनाव में पंजाब में बीजेपी एक भी सीट नहीं जीत पाई, लेकिन इस बार पार्टी का वोट प्रतिशत बढ़ा है।