विश्वप्रसिद्ध मंदिर जहां श्रीकृष्ण के चरण आज भी मौजूद हैं..

दिल्ली NCR भक्ति

ज्योति शिंदे के साथ शर्मा, ख़बरीमीडिया

उत्तर प्रदेश के अलीगढ़(Aligarh) में स्थित है विश्व प्रसिद्ध खेरेश्वर धाम मंदिर.. शहर से 5 किलोमीटर दूर खैर रोड पर सिद्धपीठ खेरेश्‍वर धाम का इतिहास द्वापर युग से जुड़ा हुआ है। खेरेश्वर धाम मंदिर का इतिहास बेहद पुराना है। कहा जाता है कि खेरेश्‍वर मंदिर में भगवान श्रीकृष्‍ण ने अपने बड़े भाई बलराम ( दाऊजी) महाराज  के साथ गंगा स्‍नान के लिए रामघाट जाते समय यहां विश्राम किया था।  उसी समय श्रीकृष्‍ण ने खेरेश्‍वर मंदिर में भगवान शिव की पूजा अर्चना की थी। तब से लेकर आज तक सोमवार को यहां सुबह से लेकर शाम तक भक्‍तों की विशेष भीड़ रहती है। सावन माह व देवछठ  पर यहां मेला लगता है। खास बात यह है कि महाशिवरात्रि पर्व यहां 24 घंटे में सात लाख से अधिक श्रद्धालु जलाभिषेक करने आते हैं। 

अलीगढ़ की तहसील कोल के गांव ताजपुर-रसूलपुर में खेरेश्वर मंदिर स्थित है। अलीगढ़ का यह प्रमुख मंदिर है। यह मंदिर भगवान शिव के लिए समर्पित है। ये मंदिर सुंदर वास्तुकला के लिए भी मशहूर है। ‘शिवलिंगम’ के रूप में भगवान शिव के अलावा, मंदिर में अन्य हिंदू देवताओं की कई पीतल की मूर्तियां हैं। मंदिर के पास छोटा सा तालाब है। चारो ओर सुंदर माहौल है। मंदिर  के सामने से यमुना एक्‍सप्रेस के लिए रास्‍ता जाता है। मंदिर के सामने से जा रही सड़क गुड़गांव, फरीदाबाद, ग्रेटर नोएडा व दिल्‍ली आदि के लिए आसानी से जाया जा सकता है।

यह है मंदिर का इतिहास

खैर रोड स्‍थित सिद्ध पीठ खेरेश्वर धाम का इतिहास द्वापर काल से जुड़ा हुआ है। श्री खेरेश्‍वर महादेव व दाऊजी महाराज समिति के उपाध्‍यक्ष गेहराज सिंह बताते हैं कि भगवान श्री कृष्ण और बलराम द्वापर युग के अंतिम समय में मथुरा से बुलंदशहर जनपद के रामघट पर गंगा स्नान के लिए जा रहे थे। उस दौरान यहां टीला हुआ करता था। रात में यहां श्रीकृष्‍ण ने अपने बड़े भाई दाऊजी के साथ विश्राम किया था। उस समय अलीगढ़ का नाम कोल था। यहां के शासक का नाम कोलासुर था, जो बहुत अत्याचारी था। साधु-संतों पर अत्याचार करता था।  साधु संतों ने भगवान श्रीकृष्ण और बलराम से शिकायत की। बलराम ने कोलासुर शासक का वध कर दिया था। इसक बाद वह गंगा स्नान के लिए गए थे। गंगा स्नान से लौटने के बाद यहां इसी टीले पर शिवलिंग स्थापित कर श्रीकृष्‍ण ने महादेव की पूजा अर्चना की थी।

हर साल लगता है देवछठ का मेला

श्री खेरेश्‍वर महादेव व दाऊजी महाराज समिति के अध्‍यक्ष ठा सत्‍यपाल सिंह के अनुसार कू्र शासक कोलासुर का वध बलराम दाऊजी महाराज ने किया था। उसी समय से यहां पर विजयोत्‍सव के रूप में हर साल भादौं मास में देवछट का मेला लगता है। देवछठ और सावन के अवसर पर उत्सव का माहौल होता है। इस मेले में कुश्ती, दंगल और कबड्डी के अलावा सांस्कृतिक कार्यक्रम होते हैं।

संगीताचार्य स्‍वामी हरिदास की है जन्‍म स्‍थली

श्री खेरेश्‍वर महादेव व दाऊजी महाराज समिति के अध्‍यक्ष ठा सत्‍यपाल सिंह बताते हैं कि यह पवित्र स्‍थल श्री बांके बिहारी वृंदावन के प्राकटयकर्ता महान संगीताचार्य स्‍वामी हरिदास जी जन्‍म स्‍थली भी है। पौष शुक्‍ल त्रयोदशी वि सं 1569 अथवा सन 1513 ई दिन भृगुवार रोहिणी  नक्षत्र में श्री गजाधर के पुत्र आशुधीर की पत्‍नी श्रीमती गंगादेवी के गर्भ  से ललिता महारानी के अवतार के रूप में हुआ था, जिनका नाम हरिदास रखा गया। यहां पर हरिदास की पत्‍नी सती हरमति का समाधि स्‍थल भी है। साथ ही यहां अनेक देवी देवताओं  प्राचीन मंदिर बांके बिहारी जी हरिदास एवं दाऊजी महाराज के प्राचीन मंदिर हैं।  

पांडवों को सौंपा था राज्‍य

श्री खेरेश्‍वर महादेव व दाऊजी महाराज समिति के अध्‍यक्ष ठा सत्‍यपाल सिंह का कहना है कि महाशिवरात्रि पर्व को लेकर बहुत व्यापक तैयारी होती है। साल का यह सबसे बड़ा उत्सव होता है। 24 घंटे में साढ़े सात लाख के करीब श्रद्धालु जलाभिषेक करते हैं। श्रद्धालुओं के दर्शन करने की व्यवस्था मंदिर प्रबंधन के पदाधिकारी आपसी सहमति से करते है। इसके लिए यहां परिसर में 32 सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। मंदिर प्रबंध कमेटी के अध्यक्ष ठा सत्यपाल सिंह ने बताया कि यहां पांडव भी आए थे और श्रीकृष्ण के साथ इसी जगह पूजा की थी। बाद में यहां का राज्य पांडवों को दे दिया गया था, क्योंकि उनकी राजधानी अहार राज्य थी जो कि बुलंदशहर जनपद में थी।

मंदिर जाने के लिए टेंपो, ई रिक्‍शा के अलावा सिटी बस की है सुविधा

भगवान शिव का मंदिर ख़ैर बाईपास सड़क पर स्थित है, जो नेशनल हाइवे 91 व राज्‍य राजमार्ग 22 को जोड़ता है। शहर के केंद्र से पांच किलोमीटर की दूरी पर स्थित खेरेश्‍वर धाम सार्वजनिक परिवहन की सुविधाएं हैं। यमुना एक्‍सप्रेस वे, पलवल, फरीदाबाद, गुड़गांव व हरियाणा जाने के लिए रोडवेज बसें खेरेश्‍वर मंदिर के सामने से होकर गुजरती हैं। मंदिर जाने के लिए टेंपो, ई रिक्‍शा के अलावा ई सिटी बसें भी उपलब्‍ध हैं।(सौ. जागरण)

READ: khabrimedia, Latest Greater Noida News,Greater noida news, Noida Extension news, greater noida Society News – Top news-Latest Noida news-latest Noida extension news-latest Delhi Ncr news- Big news of today-Daily News-Greater Noida Society news-Greater Noida News in Hindi