Noida का ‘बाइक बोट घोटाला’..नीरव मोदी से भी बड़े फ्रॉडिए से मिलिए

दिल्ली NCR
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नोएडा का बाइक बोट घोटाला याद है कि भूल गए। कैसे देखते ही देखते नोएडा के एक फ्रॉडिए ने 42 हजार करोड़ से ज्यादा की ठगी की और लोगों को सड़क पर ला दिया।

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सौ. सोशल मीडिया

अब इस मामले में सीबीआई की ओर से कंपनी के चीफ मैनेजिंग डायरेक्टर संजय भाटी और 14 अन्य लोगों पर केस करने के बाद ऐसे पुलिस अधिकारियों की भी परेशानी बढ़ेगी जो केस की लीपापोती में लगे हुए थे। वहीं दूसरी ओर फ्रॉड के शिकार हुए हजारों लोगों में खुशी है और न्याय मिलने की उम्मीद जगी है। नोएडा में बाइक बोट घोटाला करने वाली गर्वित इनोवेटिव लिमिटेड कंपनी के खिलाफ नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) ने दिवालिया घोषित करने की प्रक्रिया शुरू की है।इस मामले में एनसीएलटी ने इंटरिम रिजॉल्यूशन प्रोफेशनल (आईआरपी) की नियुक्ति कर दी है। दिनेश कुमार गुप्ता को कंपनी का आईआरपी बनाया है।

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क्या है बाइक बोट घोटाला
सीबीआई की 20 अक्टूबर 2021 को दर्ज की एफआईआर के मुताबिक कंपनी ने बाइक टैक्सी में निवेश करने के लिए लाखों लोगों को ऑफर दिया गया। कंपनी अगस्त 2017 में ‘बाइक बोट नाम की योजना लेकर आई। योजना 2019 की शुरुआत तक चली और ठगी की गई। बाइक बोट योजना गर्वित इनोवेटिव प्रमोटर्स लिमिटेड (जीआईपीएल) कंपनी की ओर से निकाली गई थी। यह कंपनी 2010 में कानपुर में रजिस्टर्ड की गई थी।

यह थी योजना
कंपनी का रजिस्टर्ड ऑफिस ग्रेटर नोएडा बनाया गया। योजना के तहत निवेशकों को 62,100 रुपये निवेश करने के लिए कहा गया था। निवेशक को बाइक से हर माह निश्चित 5175 रुपये बाइक का किराया मिलना था। कंपनी ने निवेशकों से 1, 3, 5 या 7 बाइकों में निवेश करने का ऑफर दिया गया। योजना में मासिक रेंटल इनकम बोनस और रिन्युअल इनकम भी शामिल थी।

निवेशकों की रकम से चैनल शुरू किया था
मुख्य आरोपी संजय भाटी जो गौतमबुद्ध नगर में लोकसभा प्रभारी रहा था और कंपनी का डायरेक्टर था जो जेल में बंद है। इसका साथी लखनऊ निवासी बीएन तिवारी ने नोएडा में रहकर न्यूज चैनल चलाता था। उसी चैनल पर बाइक बोट का जमकर प्रचार प्रसार किया था। नोएडा से ही लखनऊ तक के अधिकारियों से संबंध बना लिए थे। बाइक बोट के प्रसार के लिए चैनल का प्रयोग किया जाता था। बाइक बोट में निवेश की गई रकम से ही चैनल का शुभारंभ किया था।

सीबीआई की एफआईआर में पुलिस पर भी उठा सवाल
बता दें कि सीबीआई से पहले इस केस में ईडी ने जांच शुरू की थी। एजेंसी की ओर से कंपनी के प्रमोटरों की 216 करोड़ रुपये की संपत्ति भी जब्त की थी। सीबीआई ने अपनी एफआईआर में लिखा है कि 2 लाख लोगों से ठगी का यह मामला है। इसके तहत कंपनी ने विज्ञापन जारी करके लोगों से स्कीम में निवेश की अपील की थी। सूत्रों के अनुसार सीबीआई ने अपनी जांच में पुलिस की ढिलाई पर भी सवाल उठाया है।

2 लाख सैनिक भी हुए शिकार
बाइक बोट टैक्सी स्कैम में दो लाख सैनिकों व करीब 6 लाख अन्य नागरिकों से 42 हजार करोड़ रुपये की ठगी हुई है। जिसे लेकर देशभर में हजारों मुकदमे दर्ज हुए हैं। 24 से अधिक आरोपित जेल में बंद हैं। सीबीआई ने प्राइवेट कंपनी बाइक बोट की ओर से किए गए करीब 15 हजार करोड़ के घोटाले में केस दर्ज किया है। आरोप है कि इस कंपनी ने देशभर के करीब 2 लाख लोगों के साथ ठगी की है। ठगी करने के मामले में सीबीआई ने कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर संजय भाटी सहित 15 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है।

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