Noida News: यूपी के नोएडा-ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के क्षेत्र में रहने वाले फ्लैट खरीदारों (Flat Buyers) के लिए खुशखबरी की खबर है। नोएडा-ग्रेटर नोएडा समेत पूरे उत्तर प्रदेश (Up) में फ्लैट खरीदारों को मकानों की रजिस्ट्री (Registry) कराने का रास्ता साफ हो गया है। पढ़िए पूरी खबर…
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आपको बता दें कि राज्य सरकार की ओर से नीति आयोग के पूर्व अध्यक्ष अमिताभ कांत (Amitabh Kant) की अध्यक्षता में गठित समिति की सिफारिशों को मानने का निर्णय किया गया। जिसमें उत्तर प्रदेश के अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त मनोज कुमार सिंह की ओर से शासनादेश जारी कर दिया गया है।
3 माह के अंदर रजिस्ट्री की जाएगी
इस शासनादेश में खरीदारी और बिल्डर्स (Builders) की समस्याओं के समाधान के लिए पैकेज तय किया गया है। जिसके मुताबिक सभी पूर्ण निर्मित फ्लैट या ऐसे फ्लैट जिनमें खरीददार कब्जा प्रमाण पत्र प्राप्त कर या इसके बिना रह रहे हों, उनकी औपचारिकताएं पूरी कर 3 माह के अंदर रजिस्ट्री की जाएगी। रजिस्ट्री करने के पहले यह सुनिश्चित किया जाएगा कि फ्लैट/टावर को अग्निशमन और निर्माण संबंधी सभी अनापत्ति प्रमाणपत्र (Certificate) प्राप्त हो गए हों।
दिल्ली-एनसीआर (Delhi-NCR) में लगभग 2.4 लाख ऐसे फ्लैट हैं जो पूरे नहीं हो सके हैं। शासनादेश में बताया गया है कि प्राधिकरण का बोर्ड पैकेज के क्रियान्वयन की निगरानी करेगा। सभी महत्वपूर्ण निर्णय बोर्ड से मंजूर कराए जाएंगे। पैकेज का क्रियान्वयन पूरा होने तक प्रत्येक बोर्ड बैठक में एक एजेंट के रूप में अनिवार्य रूप से इसकी निगरानी की जाएगी।
25 फीसदी धनराशि जमा करने के बाद रजिस्ट्री
सबसे पहले थर्ड पार्टी/चार्टर्ड अकाउंटेंट (Accountant) द्वारा आंकलित किये गए। जिसमें बकाये तथा कोरोना महामारी से उत्पन्न परिस्थितियों के दृष्टिगत 2 वर्ष की अवधि के लिए दी जाने वाली जीरो पीरियड (एक अप्रैल 2020 से 31 मार्च 2022 तक) की रियायत को कुल बकाया की राशि से घटाते हुए शुद्ध बकाये की राशि का आकलन किया जाएगा। पैकेज के मुताबिक सहमति देने वाले तथा कार्य करने वाले बिल्डर का पट्टा विलेख निरस्त नहीं किया जाएगा।
पैकेज स्वीकार कर शुद्ध बकाये के सापेक्ष 25 फीसदी धनराशि जमा करने पर प्राधिकरण (Authority) की ओर से भूमि गिरवी रखने की अनुमति दी जाएगी। जिससे बिल्डर परियोजनाओं को पूरा करने और बकाये के भुगतान के लिए संसाधन जुटा सकें। शुद्ध बकाये के सापेक्ष 25 फीसदी धनराशि जमा करने के बाद रजिस्ट्री, प्लान की मंजूरी और विस्तार की अनुमति 15 दिन के अंदर मिल सकेगी।
बिल्डरों को मिलेगी छूट
बता दें कि अधिकतम 3 साल में अधूरे निर्माण पूरे की योजना में शामिल होने वाले बिल्डरों को 60 दिन में 25 फीसदी बकाया राशि जमा करने के बाद सभी सुविधाएं मिलेंगी। बिल्डरों को कोविड काल का 2 साल का ब्याज और दंडात्मक (Punitive) ब्याज से राहत के साथ ही केस टू केस बेसिस पर एनजीटी की ओर से 2013 से 15 की कार्य अवधि की भी छूट मिल सकेगी।
छूट मिलने के बाद बकाया राशि जमा करनी होगी। अगर कोई बिल्डर को-डेवलपर (Co-Developer) के तौर पर दूसरे बिल्डर को लेकर आना चाहता है तो उसे भी यह सुविधा मिलेगी। इसमें 15 दिनों में प्राधिकरण मंजूरी दे देगा। लेकिन इसके बाद बकायेदार के तौर पर मूल आवंटी के साथ ही को-डेवलपर भी समान रूप से जिम्मेदार होगा। 25 फीसदी राशि जमा करने के बाद प्लान के अप्रूवल और 3 साल के समय विस्तार की सुविधा मिलेगी।