Yamuna Authority: यमुना प्राधिकरण ने अपने फ्लैट खरीदारों को बड़ी राहत दी है। आपको बता दें कि यमुना प्राधिकरण (Yamuna Authority) ने आवंटियों को रजिस्ट्री (Registry) करने और निर्माण कार्य पूरा करने के लिए 6 महीने का समय और बढ़ा दिया है। इस दौरान किसी तरह का कोई लेट फीस नहीं ली जाएगी। यमुना प्राधिकरण के इस फैसले से लगभग 42000 आवंटियों को सीधे फायदा होगा। प्राधिकरण ने फ्लैट खरीदने वाले आवंटियों को इस प्रकार बड़ी राहत दे दी है। उन्हें सरेंडर करने और फ्लोर बदलने की अनुमति दी गई है।
ये भी पढ़ेंः अब आप भी चला सकते हैं दिल्ली मेट्रो..यक़ीन ना हो तो ख़बर पढ़ लीजिए
यमुना प्राधिकरण की 79वीं बोर्ड बैठक सोमवार को सभागार में आयोजित हुई। बोर्ड बैठक की अध्यक्षता प्राधिकरण के अध्यक्ष अनिल सागर ने की। इसमें यीडा के सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ एनजी रवि कुमार, जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा, यमुना प्राधिकरण के सीईओ विपिन जैन, कपिल सिंह, ओएसडी शैलेंद्र भाटिया, ओएसडी शैलेंद्र कुमार सिंह आदि शामिल रहे।
30 जून, 2024 तक का मिल गया समय
मीटिंग में आवंटियों के लिए कई राहत दी गई। प्राधिकरण ने सभी आवासीय प्लॉट (Residential Plot), औद्योगिक एवं संस्थागत योजनाओं के ऐसे सभी आवंटियों, जिनको पूर्व में चेक लिस्ट जारी हो चुकी है और रजिस्ट्री अभी तक नहीं कराई है। साथ ही जिन आवंटियों ने रजिस्ट्री करा ली थी, लेकिन लीज डीड के मुताबिक घर निमार्ण की अवधि समाप्त हो गई है। ऐसे सभी आवंटियों को 30 जून, 2024 का निशुल्क समय बढ़ा दिया गया है।
268 आवंटी फ्लैट कर सकेंगे सरेंडर
आवंटियों की मांग पर प्राधिकरण ने 54.75 वर्गमीटर के फ्लैटों के आवंटियों को रिफंड देने का निर्णय लिया है। 31 मार्च तक रिफण्ड के लिए अप्लाई करने वाले आवंटियों को चार प्रतिशत साधारण ब्याज के साथ पैसा वापस कर दिया जाएगा। बता दें कि ऐसे लगभग 270 आवंटी हैं। वहीं, सेक्टर-22डी में प्राधिकरण की फ्लैट की पहले आओ पहले पाओ योजना में फ्लोर बदलने की भी परमिशन दे दी गई है। इसमें केस टू केस फैसला होगा। जिसमें दिव्यांग श्रेणी/सीनियर सिटिजन/वृद्ध या किसी अन्य गम्भीर बीमारी से पीड़ित लोगों को प्राथमिकता मिलेगी। साथ ही इस योजना में आवेदन करने वाले अब आवेदन के साथ अपने फ्लोर व फ्लैट का चयन कर सकेंगे।
आवासीय प्लॉटों पर भी शून्यकाल का लाभ
प्राधिकरण ने ग्रुप हाउसिंग, टॉउनशिप, औद्योगिक प्लॉटों एवं संस्थागत परियोजनाओं के लिए 0 पीरियड की सुविधा पहले से ही दी है। अब आवंटित आवासीय प्लॉट पर भी शून्य काल का लाभ मिलेगा। कोर्ट में मामला पेडिंग होने के कारण समय पर कब्जा नहीं दिए जाने, प्लॉट तक पहुंच मार्ग नहीं होने आदि पर यह लाभ दिया जाएगा। ऐसे मामलो में सेटेलाइट इमेज से पुष्टि के बाद यह लाभ मिलेगा।
एसडीएस के आवंटियों को भी राहत
एसडीएस इन्फ्राकॉन प्रालि के जिन आवंटियों ने रजिस्ट्री करवा ली है और उन्हें जरूरी सुविधाएं विकासकर्ता नहीं दे पा रही है। ऐसे आवंटियों कोक प्लॉट पर घर निर्माण के लिए 31 दिसंबर तक का समय दिया जाता है। इस दौरान किसी तरह का कोई पेमेंट नहीं लिया जाएगा।
सेमीकंडक्टर पार्क 125 एकड़ में होगा तैयार
सेक्टर-28 में 125 एकड़ में सेमी कंडक्टर पार्क तैयार किया जाएगा। यह प्रदेश में सेमी कंडक्टर की पहली इकाई होगी। इसके आने के बाद रोजगार सृजन, कौशल विकास एवं राजस्व की संभावनाएं और बढ़ेगी। वहीं, बिल्डर्स-बायर विवाद को सुलझाने के लिए यमुना प्राधिकरण अमिताभ कांत समिति की संस्तुतियों को लागू करेगा।
मास्टर प्लान-2041 पर पीडा बोर्ड की मुहर
यमुना प्राधिकरण के बोर्ड ने मास्टर प्लान-2041 पर मुहर लगा दिया है। बोर्ड की मंजूरी के बाद अब इसे उत्तर प्रदेश शासन के पास भेजा जाएगा। अब यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में 1149 गांव अधिसूचित हो जाएंगे। वहीं, इसमें 1050 हेक्टेयर और अभीन एविएशन हब के लिए दे दी गई है।
यमुना प्राधिकरण 6 जिलों गौतमबुद्ध नगर, बुलंदशहर, हाथरस, अलीगढ़, मथुरा एवं आगरा तक फैला हुआ है। प्राधिकरण ने गौतमबुद्ध नगर एवं बुलंदशहर में प्रथम चरण में विकास योजनाओं को आकार दे दिया है। अलीगढ़ में लॉजिस्टिक पानी योजना का काम और मथुरा में हैरिटेज सिटी परियोजना का काम तेजी से चल रहा है। अब प्राधिकरण में आगरा में भी अर्थन सेंटर विकसित करने का फैसला लिया गया है। प्राधिकरण ने बोर्ड के समकक्ष मास्टर प्लान 2041 प्रस्तुत किया। इसमें नए सेक्टर प्रस्तावित किए गए हैं।