Electricity demand record broken in Punjab

गर्मी से पंजाब के लोगों की हालत खराब..बिजली की मांग का रिकॉर्ड टूटा

पंजाब
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Punjab News: पंजाब के लोगों की भीषण गर्मी (Extreme Heat) से हालत खराब हो रही है, तो दूसरी धान का सीजन शुरू हो गया है। इस वजह से बिजली की डिमांड (Electricity Demand) काफी बढ़ गई है। बिजली की डिमांड ने पिछले रिकॉर्ड भी तोड़ दिए हैं। बिजली (Electricity) की मांग 15963 मेगावाट पहुंच गई है। जो कि एक नया रिकॉर्ड है। लेकिन अभी तक कभी इतनी बिजली की डिमांड नहीं हुई है।
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Pic Social Media

आपको बता दें कि पावरकॉम (Powercom) की तरफ से 16 हजार मेगावाट बिजली का इंतजाम किया गया है। गर्मी बहुत अधिक होने की वजह से अभी तक किसान धान लगाने से बच रहे हैं। लेकिन 20 जून के बाद यह काम रफ्तार पकड़ेगा। ऐसे में बिजली की मांग और बढ़ेगी।

गत साल 6219 मेगावाट थी डिमांड

जून महीने में बिजली की खपत (Power Consumption) एकदम बढ़ी है। इसमें सीधे 43 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। पहली जून को बिजली की मांग 12433 मेगावाट थी, जो कि गत साल जून में 6219 मेगावाट थी। इससे साफ है कि बिजली की मांग में रिकॉर्ड बढ़ोतरी हुई है। दूसरा यह भी माना जा रहा है बिजली बिल जीरो आने की वजह से लोग संयम से बिजली का प्रयोग नहीं कर रहे हैं।

लेकिन बिजली की मांग बढ़ने से अब कई इलाकों (Localities) में लोगों को बिजली संकट का सामना करना पड़ रहा है। कई इलाकों में अघोषित कट तक लग रहे हैं। हालांकि सरकार का दावा है कि किसानों को बिना किसी रुकावट से 8 घंटे बिजली मुहैया करवाई जाएगी।

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थर्मल प्लांटों में कोयले की कमी

सूत्रों के मुताबिक बिजली (Electricity) की मांग बढ़ने से थर्मल प्लांटों में कोयले की मांग भी बढ़ने लगी है। 1980 मैगावाट क्षमता वाले तलवंडी साबो थर्मल प्लांट इस समय तीन दिनों का कोयला शेष हैं। जबकि रोपड़ थर्मल प्लांट 13 दिनों का कोयला शेष हैं।

इसी तरह गोइंदबाल में 21 दिन, लहरा मोहब्बत में 22 और राजपुरा में 23 दिन का स्टाक हैं। हालांकि सीएम भगवंत मान ने इस मामले को लेकर पहले पावरकॉम के अधिकारियों से चंडीगढ़ में मीटिंग की थी। जिसमें सारे बिंदुओं पर मंथन किया गया था। साथ ही दावा किया गया था कि लोगों को दिक्कत नहीं उठानी पड़ेगी।​​​​​​

​सरकार इस फॉर्मूले पर हो सकता है विचार

राज्य में जिस तरह बिजली (Electricity) की मांग बढ़ रही है। उस पर सरकार का थिंक टैंक गत साल वाली स्थिति दोबारा लागू करने पर विचार कर है। इसमें कार्यालय का समय सुबह 7 बजे से 2 बजे तक करना शामिल है। उद्योगों पर पीक लोड पर प्रतिबंध लगाने जैसे मुद्दे शामिल है। क्योंकि दफ्तरों के शुरू होने से खपत एकदम बढ़ी है।