MP के 2 हजार से ज्यादा ग्राम पंचायतें हुईं टीबी मुक्त: CM मोहन यादव
MP News: मध्य प्रदेश के लोगों के लिए बड़ी और अच्छी खबर है। आपको बता दें कि मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने बड़ा दावा किया है। सीएम मोहन यादव (CM Mohan Yadav) ने दावा किया है कि राज्य की 2 हजार ग्राम पंचायतें टीबी मुक्त हो गई हैं। इसी खुशी को मुख्यमंत्री मोहन यादव ने दावा किया कि मध्य प्रदेश साल 2025 के आखिरी तक पूरी तरह से टीबी मुक्त हो जाएगा। सीएम मोहन यादव (CM Mohan Yadav) ने ये सारी बातें केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा की अध्यक्षता में हुई 100 दिवसीय तीव्र टीबी उन्मूलन अभियान बैठक में कही है। राजधानी दिल्ली में हुई इस बैठक में मुख्यमंत्री मोहन यादव (CM Mohan Yadav) उज्जैन से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से शामिल हुए। यहां उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में टीबी मुक्त अभियान (TB Free Campain) के लिए व्यापक प्रचार प्रसार किया जा रहा है। इसके साथ ही जिला स्तर पर संबंधित अधिकारियों को जरूरी निर्देश भी जारी किए गए हैं।
ये भी पढ़ेंः MP News: मोदी जी की सरकार अंगद के पांव वाली सरकार, किसी के हटाने से भी नहीं हटने वालीः CM मोहन यादव
2025 तक मध्य प्रदेश होगा टीबी मुक्त
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने आगे कहा कि मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) सरकार प्रदेश को पूरी तरह से टीबी मुक्त करने के लिए लगातार कार्य कर रही है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि मध्य प्रदेश में 2 हजार से ज्यादा ऐसी ग्राम पंचायत हैं, जो पुरी तरह से टीबी मुक्त हो गई हैं। इस दौरान मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बताया कि बीते शनिवार को ही उज्जैन जिले के 56 ग्राम पंचायत को टीबी मुक्त घोषित किया गया है। सीएम मोहन यादव ने दावा किया साल 2025 तक मध्य प्रदेश को पुरी तरह से टीबी मुक्त बनाया जाएगा।
ये भी पढ़ेंः MP: मध्य प्रदेश में प्राइवेट स्कूलों की मनमानी फीस पर लगेगा लगाम, विधानसभा में पारित हुआ विधेयक

मध्य प्रदेश पहुंच गया दूसरे नंबर पर
सीएम मोहन यादव ने इस दौरान कहा कि मध्य प्रदेश फूड बास्केट बांटने में देश में दूसरे नंबर पर पहुंच गया है। प्रदेश में 3 हजार से ज्यादा टैंट का आयोजन किया जा चुका है। इसके साथ ही 122 से ज्यादा जन जागरूकता रैली भी निकाली गई हैं। सिर्फ यही नहीं लगभग 5 हजार से ज्यादा लोगों ने नि:क्षय मित्र बनने की शपथ ली है। मध्य प्रदेश में व्यापक अभियान चलाया जा रहा है। इसके लिए उद्योग, कारखानों, ईंट भट्टों और सघन बस्तियों में स्पेशली टीबी टेस्ट अभियान चलाया जा रहा है।

