Jyoti Shinde,Editor
Punjab News: पंजाब की मान सरकार (CM Maan Govt.) लगातार अल्पसंख्यक वर्ग के विद्यार्थियों की भलाई के लिए काम कर रही है। पंजाब सरकार में सामाजिक न्याय, अधिकारिता और अल्पसंख्यक मंत्री डॉ. बलजीत कौर (Dr. Baljeet Kaur) ने बताया कि अल्पसंख्यक वर्गों के बच्चों को शिक्षा प्रदान करना राज्य सरकार की मुख्य प्राथमिकता है। कैबिनेट मंत्री (Cabinet Minister) ने कहा कि अल्पसंख्यक वर्ग से सम्बन्धित विद्यार्थियों को पढ़ाई के लिए मेरिट-कम-मीन्ज़ बेस्ड स्कॉलरशिप स्कीम के अधीन उच्च शिक्षा और प्रोफेशनल संस्थाओं में पढ़ रहे विद्यार्थियों को कोर्स के लिए वज़ीफ़ा दिया जाता है।
उन्होंने आगे बताया कि इस स्कीम का मुख्य लक्ष्य अति-गरीब परिवारों के विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा पूरी करने के लिए सहायता प्रदान करना है। पंजाब सरकार द्वारा मेरिट-कम-मीन्ज बेस्ड स्कॉलरशिप स्कीम फॉर माइनोरिटीज स्कीम में सिख, मुस्लिम, इसाई, पारसी और जैन वर्ग से सम्बन्धित विद्यार्थी कवर किये जाते हैं। इस स्कीम के अंतर्गत ग्रैजुएट, पोस्ट ग्रैजुएट और प्रोफेशनल मेडिकल, नर्सिंग, फारमैंसी और मैनेजमेंट आदि संस्था में पढ़ रहे विद्यार्थियों को कोर्स के लिए वज़ीफ़ा दिया जाता है।
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कैबिनेट मंत्री ने बताया कि इस स्कीम के अधीन राष्ट्रीय सूचीबद्ध संस्थाओं में पढ़ाई कर रहे बच्चों की फीस दी जाती है। राज्य में मौजूदा समय में आई.आई.टी रोपड़, संत लोंगोवाल इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग और टैक्नॉलॉजी, संगरूर और डॉ. बी.आर. अम्बेडकर नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टैक्नॉलॉजी, जालंधर आदि में पढ़ाई कर रहे विद्यार्थियों को कोर्स की पूरी फीस अदा की जाती है।
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मंत्री ने बताया कि वह विद्यार्थी इस स्कीम के अधीन लाभ प्राप्त करने के योग्य हैं, जिसके पिछले साल के इम्तिहान में 50 प्रतिशत से कम नंबर न हों। उसके माता-पिता/सरपरस्तों की सालाना आमदी 2.50 लाख रुपए से ज़्यादा न हो। माता-पिता और विद्यार्थी पंजाब के निवासी हों और विद्यार्थी शैक्षिक संस्था में रेगुलर पढ़ता हो, लाभ प्राप्त कर सकता है।