Bulldozer Action: देश के कई राज्य ऐसे हैं जहां पर अपराधियों को सजा देने के लिए उनकी संपत्ति पर बुलडोजर कार्रवाई की जाती है। हालांकि, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव को बुलडोजर संस्कृति नहीं है। उनका साफ तौर पर कहना है कि वो बुलडोजर की संस्कृति पसंद नहीं करते है। वो इसके खिलाफ है। वो बुलडोजर चलाने के पक्ष में कभी नहीं रहे। उनका कहना है कि उन्होंने कभी भी बुलडोजर संस्कृति का समर्थन नहीं किया है। हमेशा उसके खिलाफ रहे है।
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सीएम मोहन यादव का यह बयान ऐसे वक्त पर आया है जब हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने एक अक्टूबर तक बुलडोजर एक्शन पर रोक लगा दी थी और कहा था कि बिना कोर्ट की अनुमति के एक अक्टूबर तक किसी भी संपत्ति पर बुलडोजर नहीं चलेगा। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट का यह फैसला सार्वजनिक स्थलों जैसे- रास्तों, फुटपाथ, रेलवे ट्रैक और अन्य सार्वजनिक स्थानों पर लागू नहीं होगा।
बता दें कि साल 2023 में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री बनने के बाद मोहन यादव की सरकार में कई बार ऐसा हुआ है जब आरोपियों का घर बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया गया। हालांकि, इस मामले में सीएम मोहन यादव का कहना है कि वह बुलडोजर संस्कृति को पसंद नहीं करते हैं और उन्होंने इसे लेकर खुलकर ना कभी बोलते हैं।
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सुप्रीम कोर्ट ने पूरे देश में कोर्ट की अनुमति के बिना अपराधिक मामलों में आरोपियों की संपत्ति सहित अन्य संपत्तियों को एक अक्टूबर तक ध्वस्त नहीं करने का सख्त निर्देश दिया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि अगर अवैध रूप से ध्वस्तीकरण का एक भी मामला है तो यह हमारे संविधान के मूल्यों के विरुद्ध है। कोर्ट ने कहा था कि इस मामले की अगली सुनवाई एक अक्टूबर को होगी। तब तक तोड़फोड़ की कार्रवाई नहीं की जाएगी। सुप्रीम कोर्ट का यह निर्देश उन याचिकाओं की सुनवाई के दौरान दिया गया। जिसमें आरोप लगाए गए थे कि कई राज्यों में आरोपियों की संपत्तियों को ध्वस्त किया जा रहा है। आरोप ये भी लगाए गए थे कि विशेष धर्म से संबंधित आरोपियों के मकान ही ध्वस्त किए जा रहे हैं।