अडानी एंटरप्राइसेज ( Adani Enterprises) की सब्सिडियरी कंपनी कच्छ कॉपर ने गुजरात के मुंद्रा में अब एक न्यू प्लांट की शुरुआत की है। वहीं, Adani की कंपनी ने अपने ग्रीनफील्ड कॉपर रिफाइनरी प्रोजेक्ट की भी फर्स्ट यूनिट की शुरुआत की है।
इसके स्टार्टिंग के साथ ही Adani Group पहली बार मेटल सेक्टर में अपने कारोबार की शुरुआत कर रही है। Adani Group पहले स्टेप में 0.5 एमटीपीए क्षमता वाला तांबा स्मेलेटर स्थापित करने के लिए तकरीबन 1.2 बिलियन डॉलर का इन्वेस्टमेंट का भी भी कर रहा है।
बताते चलें कि दूसरा स्टेप में ये कंपनी 1 MTPA के साथ विश्व के सबसे बड़े सिंगल प्लेस कस्टम स्मेल्टर बन जाएगा। इससे डायरेक्ट 2 हजार और इनडायरेक्ट 5000 रोजगार के अवसर पैदा होंगें।
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Gautam Adani का वहीं, ये कहना है कि कच्छ कॉपर की शुरुआत होने के साथ साथ कंपनीज का अडानी पोर्टफोलियो ने केवल मेटल सेक्टर ( Metal Sector) में एंट्री ले रहा है, बल्कि देखा जाए तो स्थाई और आत्मनिर्भर फ्यूचर की ओर भारत की छलांग भी लगा रहा है। वहीं, कच्छ कॉपर ट्यूब्स लिमिटेड की स्थापना पर भी काम कर रहा है।
कच्छ कॉपर ट्यूब्स लिमिटेड की स्थापना से एयर कंडीशनिंग और रिफ्राइशनर में ट्यूब्स की जरूरत होती है। गौरतलब तो है कि भारत में तांबे का उत्पादन करने की अपनी क्षमता का तेजी से विस्तार करने में चीन और अन्य देशों में शामिल हो गया है।
एएनजेड बैंकिंग ग्रुप की कॉमेडिटी स्ट्रैटजिस्ट सोनी कुमारी का कहना है कि भारत में तांबे का आयात 2024 में दो मिलियन टन बढ़ सकता है। जो कि इस वर्ष अनुमानित 1.3 मिलियन टन है।