Bhopal News: मध्य प्रदेश की मोहन सरकार (Mohan Government) का आज पहला पूर्ण बजट विधानसभा (Budget Assembly) में पेश किया। एमपी के वित्त मंत्री और डिप्टी सीएम जगदीश देवड़ा (Jagdish Deora) ने सदन में बजट प्रस्तुत किया। बता दें कि इस बार 3 लाख 65 हजार 67 करोड़ रुपये का बजट पेश किया गया। जो पिछले बजट (Budget) से 16 प्रतिशत अधिक है। इस बजट में महिला, शिक्षा, स्वास्थ्य और किसान पर मुख्य फोकस किया गया है। मोहन सरकार स्वास्थ्य विभाग में 46000, जबकि शिक्षा विभाग में 11 हजार टीचरों की भर्तियां करेंगी। साथ ही उज्जैन, इंदौर, भोपाल को कई तोहफे दिए हैं। पढ़िए पूरी खबर…
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सरकार ने 2024-25 के बजट (Budget) में कोई नया कर नहीं लगाया है। इस बजट में महिला, शिक्षा, स्वास्थ्य और किसान पर मुख्य फोकस किया गया है। मध्य प्रदेश विधानसभा (Madhya Pradesh Legislative Assembly) में बुधवार को कार्यवाही शुरू होते ही नर्सिंग घोटाले पर चर्चा की मांग को लेकर विपक्ष ने हंगामा कर दिया। वित्त मंत्री विपक्ष के शोर-शराबे के बीच बजट भाषण पढ़ा। मोहन सरकार स्वास्थ्य विभाग में 46000, पुलिस में 7500 जबकि शिक्षा विभाग में 11 हजार टीचर्स की भर्तियां करेंगी।
डॉ. मोहन सरकार के बजट जानिए क्या है खास?
पीएम ई-बस योजना के तहत छह शहरों में 552 ई बसें चलाई जाएंगी। ये ई-बसें इंदौर, भोपाल, जबलपुर,ग्वालियर, उज्जैन व सागर में चलेंगी।
इस साल मंदसौर, नीमच व सिवनी में सरकारी मेडिकल कॉलेज शुरू किए जाएंगे।
2028 में होने वाले सिंहस्थ के लिए 500 करोड़ का प्रावधान। इससे उज्जैन और आसपास के 10 जिलों में विकास कार्य किए जाएंगे।
राम पथ गमन के स्थानों को चिन्हित कर उनका विकास करेंगे। श्रीकृष्ण पाथेय योजना पर भी काम होगा।
ई-विधान, ई-कैबिनेट, ई-विधान ऑफिस बनाए जाएंगे। ई-विधायक ऑफिस योजना के तहत प्रति विधायक 5 लाख रुपए दिए जाएंगे।
सरकारी अस्पताल में इलाज के दौरान मौत होने पर पार्थिव देव को घर तक सम्मानजनक ढंग से पहुंचाने के लिए शांति वाहन सेवा शुरू की जाएगी।
सरकारी कर्मचारियों के भविष्य निधि भुगतान की प्रक्रिया ऑनलाइन होगी। इससे रिटायरमेंट बाद तत्काल भुगतान हो सकेगा।
उज्जैन में चना और ग्वालियर में सरसों अनुसंधान संस्थान की स्थापना की जाएगी।
लाडली लक्ष्मी और लाडली बहना योजना के लिए 26560 करोड़ रुपए का प्रावधान।
शिक्षा के लिए 22600 करोड़ रुपए का प्रावधान।
खेल विभाग के लिए 586 करोड़ रुपए का प्रावधान।
बजट में कोई नया टैक्स नहीं है।
गृह विभाग के लिए 11 हजार 292 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।
पुलिस विभाग में 7500 पदों पर भर्ती होगी।
पुलिस आवास योजना के लिए 367 करोड़ रुपए।
मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना के लिए 50 करोड़ रुपए।
वन एवं पर्यावरण के लिए 4 हजार 725 करोड़ रुपए।
स्वास्थ्य के क्षेत्र के लिए 21 हजार 144 करोड़ रुपए।
नर्मदापुरम, शहडोल, बालाघाट, सागर और मुरैना में आयुर्वेद अस्पताल खुलेंगे।
सिंहस्थ से जुड़े विकास कार्यों के लिए शुरुआती स्तर पर 500 करोड़ रुपये का प्रावधान।
सूबे में सरकारी भर्ती परीक्षाओं के फीस कम की जाएगी।
प्रदेश में 22 नए ITI संस्थान शुरू किए जाएंगे।
पीएम फसल बीमा योजना के लिए 2000 करोड़ रुपए।
मृदा सरंक्षण के लिए 30 करोड़ रुपए।
पशुपालकों और गौशालाओं के लिए 590 करोड़ रुपए।
दुग्ध उत्पादकों के प्रोत्साहन के लिए 150 करोड़ रुपए।
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मंत्री जगदीश देवड़ा ने भाषण पढ़ते हुए कहा कि बजट में 16 प्रतिशत की वृद्धि की गई है। हम बाधाओं को पर कर विकास करेंगे। प्रदेश में गुणवत्तापूर्ण बिजली देने पर काम हो रहा है। ओंकारेश्वर में 100 मेगावॉट का सोलर प्लांट लगाया गया है। बजट में कृषि को लाभ का क्षेत्र बनाने की योजना है। केन-बेतवा लिंक परियोजना के लिए राशि दी गई है। 48 लाख हेक्टेयर की अतिरिक्त भूमि सिंचित होगी। मध्य प्रदेश में इंदौर, भोपाल सहित 6 शहरों में 552 ई-बस चलाई जाएंगी।
वित्तमंत्री ने बजट भाषण में कहा कि प्रदेश में सरकारी कर्मचारियों के रिटायर होने के बाद भविष्य निधि तुरंत मिलेगी। इसके साथ ही 50 करोड़ रुपये तीर्थ दर्शन योजना के लिए दिए जाएंगे। 4725 करोड़ रुपये का प्रावधान वन और पर्यावरण के लिए किया गया है।
वित्तमंत्री ने बजट भाषण में कहा- आगामी 5 साल में एक्सप्रेसवे नेटवर्क के माध्यम से अटल प्रगति पथ, नर्मदा प्रगति पथ, विंध्य एक्सप्रेसवे, मालवा निर्माण एक्सप्रेसवे, बुंदेलखंड विकास पथ और मध्य भारत विकास पथ के कार्य किए जाएंगे। इन मार्गों के दोनों और औद्योगिक गलियारा विकसित किए जाएंगे।
सिंहस्थ 2028 के लिए उज्जैन शहर में बाइपास तथा शहर में सभी मार्गों को फोरलेन और 8 लेन की सड़क प्रस्तावित है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अंतर्गत 2000 किलोमीटर सड़क का नवीनीकरण करने का लक्ष्य रखा गया है। सड़क एवं पुल के निर्माण व संधारण के लिए बजट 10000 करोड़ रुपए प्रस्तावित किया गया है।
प्रदेश में अभी तक 70 लाख 860293 घरेलू नल कनेक्शन दिए जा चुके हैं। जल जीवन मिशन के माध्यम से हर घर नल से जल उपलब्ध कराया जाएगा। सभी गैर कृषि उपभोक्ताओं को 24 घंटे तथा कृषि उपभोक्ताओं को औसतन प्रतिदिन 10 घंटे विद्युत प्रदाय की जाएगी।
प्रदेश में 26 जनवरी 2024 को सर्वाधिक 17614 मेगावाट बिजली की आपूर्ति की गई। वर्ष 2024-25 में ऊर्जा क्षेत्र के लिए 19406 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है, जो 2023 24 की तुलना में 1046 करोड़ रुपये अधिक है। हंगामे के बीच वित्तमंत्री बजट भाषण प्रस्तुत कर रहे हैं। इसके पहले मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में कैबिनेट बैठक में वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा के भाषण अनुमोदन हुआ। इसके बाद कैबिनेट में बजट को मंजूरी दी गई।
2025-26 तक 65 लाख हेक्टेयर और 2028-29 तक एक करोड़ हेक्टेयर क्षेत्र को संचित करने का लक्ष्य रखा गया है। पार्वती, काली सिंध, चंबल नदी लिंक परियोजना निर्माण की सैद्धांतिक सहमति बनाई गई है। इससे प्रदेश के 10 जिलों में चार लाख हैक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई क्षमता निर्मित होगी और पेयजल मिलेगा सिंचाई परियोजनाओं के निर्माण व संधारण के लिए 13 हजार 596 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है। केन बेतवा लिंक परियोजना और के लिए भी प्रावधान किए गए हैं।
राज्य मिले मिशन मोटे अनाज को प्रोत्साहित करने के लिए लागू किया गया है। कोदो कुटकी पर प्रति किलोग्राम 10 रुपये की अतिरिक्त राशि भी दी जाएगी। डिंडौरी में श्री अन्य अनुसंधान केंद्र स्थापित होगा। मिट्टी परीक्षण प्रयोगशाला के लिए 50 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है।
उज्जैन में चना और ग्वालियर में सरसों अनुसंधान केंद्र की स्थापना होगी। अनुसूचित जाति जनजाति के एक हेक्टेयर तक के भूमि धारकों को 5 हॉर्स पावर तक के विद्युत पंप पर निशुल्क विद्युत आपूर्ति। अटल कृषि ज्योति योजना अंतर्गत 10 हॉर्स पावर तक के किसानों को ऊर्जा प्रभार में सब्सिडी दी जा रही है। इसके लिए 11065 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा है।
मुख्यमंत्री कृषि कल्याण योजना में 4900 करोड़ रुपए रखे गए हैं। केंद्र और राज्य सरकार की योजना से 42 लाख किसान लाभान्वित हो रहे हैं। गेहूं पर 125 रुपए प्रति कुंतल बोनस देने के लिए 1000 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है।
प्राकृतिक आपदा से होने वाली नुकसान की भरपाई के लिए 2000 करोड़ रुपए रखे गए हैं फसल विविधीकरण योजना के लिए 20 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। 0% पर किसानों को ऋण उपलब्ध कराने के लिए 600 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा है।
प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए 30 करोड़ प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना में निशुल्क खाद्यान्न उपलब्ध कराया जा रहा है, जो आगे भी जारी रहेगा। प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना मैं शामिल होने से वंचित हितग्राहियों को शामिल करने के लिए राज्य सरकार की योजना के लिए 520 करोड़ रुपए रखे गए हैं। किसानों को 23 हजार करोड़ रुपए के फसल ऋण वितरण का लक्ष्य रखा गया है।
गौशालाओं में पशु आहार उपलब्ध कराने के लिए 250 करोड़ रुपए रखे गए हैं। प्रतिदिन अब 20 के स्थान पर 40 रुपये व्यय किए जाएंगे। वर्ष 2024-25 को गो वंश रक्षा वर्ष के रूप में मनाया जा रहा है।
स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार के लिए 40000 पद निर्मित किए गए हैं। वर्ष 2024 25 में मंदसौर नीमच और सिवनी में मेडिकल कॉलेज संचालित होंगे। इसके बाद आगामी 2 वर्षों में 8 और मेडिकल कॉलेज संचालित करने का सरकार प्रयास करेगी।
कॉलेज के संचालन से स्नातक स्तर पर 3605 और स्नातकोत्तर स्तर पर 1560 सीटों की वृद्धि होगी। आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत चार करोड़ एक लाख सदस्यों के कार्ड बनाए जा चुके हैं। इस योजना के लिए 1381 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा गया है। यह पिछले वर्ष की तुलना में 45% अधिक है।
गंभीर रोगियों को आपात स्थिति में उपचार उपलब्ध कराने के लिए पीएम श्री एयर एंबुलेंस सेवा प्रारंभ की गई है। वहीं मध्य प्रदेश शांति वाहन सेवा की शुरुआत भी की गई है। 800 आयुष आरोग्य मंदिर का संचालन भी प्रारंभ किया गया है।
बालाघाट, शहडोल, सागर, नर्मदापुरम और मुरैना में आयुर्वेद कॉलेज प्रारंभ किए जाएंगे। बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए 21 हजार 444 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है, जो पिछले साल की तुलना में 34% अधिक है।
वर्ष 2024-25 में 150 सीएम राइस स्कूल नवीन भवन में संचालित होंगे। इन विद्यालयों में एक किलोमीटर से अधिक दूर रहे बच्चों के लिए परिवहन व्यवस्था लागू की गई है। सीएम राइस विद्यालयों के लिए 2737 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है।
वर्ष 2024-25 में 3200 प्राथमिक शालाओं में पूर्व प्राथमिक शालाएं प्रारंभ की जाएगी। 11000 शिक्षकों की नियुक्तियां की जा रही है। पीएम श्री योजना अंतर्गत 22 नवीन छात्रावास प्रारंभ किए जाएंगे। 87 लाख विद्यार्थियों को निशुल्क पाठ पुस्तक और गणेश दिए जाएंगे।
पीएम उषा परियोजना के लिए 565 करोड़ रुपए की योजना स्वीकृत की गई है। प्रत्येक जिले में पूर्व से संचालित एक महाविद्यालय को पीएम कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस के रूप में उन्नयन किया जा रहा है। इन महाविद्यालय के लिए 2000 से अधिक नए पद रचित किए गए हैं। 247 महाविद्यालयों के लिए 244 करोड़ रुपए का प्रावधान कर भौतिक एवं अकादमी का अधोसंरचना विकास के कार्य कराए जाएंगे।
प्रत्येक संभाग स्थित इंजीनियरिंग कॉलेज या पॉलिटेक्निक कोडिंग लैब की स्थापना की जाएंगी। लाड़ली बहना योजना को राष्ट्रीय स्तर पर सराहा गया। लाड़ली लक्ष्मी योजना में 48 लाख 3000 बालिकाओं को लाभान्वित किया जा रहा है। 11706 आंगनबाड़ी केंद्रों को सक्षम आंगनबाड़ी केंद्र में उन्नत किया जा रहा है।
प्रधानमंत्री जन मन महा अभियान के अंतर्गत 217 आंगनबाड़ी भवनों के लिए फिर 100 करोड़ रुपए का प्रावधान है। महिला एवं बाल विकास विभाग के लिए 26560 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। यह गत वर्ष से 81% अधिक है महिलाओं एवं बालिकाओं के सर्वांगीण विकास के लिए सभी विभागों में योजनाएं संचालित हैं। जेंडर बजट 2024-25 का 1,21,997 करोड रुपए है। शिक्षा क्षेत्र के लिए 52682 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।
मध्य प्रदेश में स्पोर्ट्स टूरिज्म को बढ़ाने के लिए नाथू बरखेड़ा भोपाल में अंतरराष्ट्रीय स्तर के स्पोर्ट्स कॉप्लेक्स का निर्माण व अंतराष्ट्रीय स्तर के स्पोर्ट्स साइंस सेंटर की स्थापना की जाएगी। शासकीय सेवा में नियुक्ति की चयन परीक्षा के लिए युवाओं द्वारा जमा किए जाने वाले आवेदन शुल्क का भार काम करने के लिए राज्य सरकार द्वारा नई नीति बनाई जाएगी। खेल एवं युवा कल्याण के लिए 586 करोड़ रुपए का प्रावधान प्रस्तावित किया गया है। अनुसूचित जाति जनजाति वर्ग के विकास के सरकार कटिबद्ध है।
प्रधानमंत्री जन मन योजना के लिए 1607 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों को बेहतर शिक्षण सुविधा उपलब्ध कराने के लिए 94 सीएम राइज स्कूल स्वीकृत किए गए हैं। 2024 25 में 38 विद्यालयों का निर्माण कार्य पूर्ण कर शैक्षणिक व्यवस्थाएं प्रारंभ की जाएगी। 2024-25 में सीएम राइज विद्यालयों के लिए 667 करोड़ रुपए का प्रावधान प्रस्तावित किया गया है। बैगा, भारिया, सहरिया जाति के लोगों को निशुल्क आहार उपलब्ध कराने के लिए 450 करोड़ रुपए का आहार अनुदान दिया जाए।
अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण के लिए 27900 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा है। विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति, गणवेश और छात्रावास सुविधा आदि के लिए 1427 करोड़ रुपए रखे गए हैं। पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक वर्ग के लिए 1704 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है।
सामाजिक न्याय के अंतर्गत पेंशन एवं कल्याणकारी योजनाओं के लिए 4421 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। इसमें मुख्यमंत्री कन्या विवाह निकाह योजना अभिभावक पेंशन योजना सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाएं शामिल है।
वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा ने बजट भाषण में कहा कि प्रदेश में औद्योगिक विकास के लिए सरकार निरंतर कदम उठा रही है। राज्य ने ऑटोमोबाइल, वस्त्र, पर्यटन, स्वास्थ्य देखभाल, कौशल विकास, फॉर्मा, अक्षय ऊर्जा, वेयरहाउसिंग को ऐसे ट्रस्ट सेक्टर के रूप में चिह्नित किया है।
यह आर्थिक वृद्धि को गति प्रदान करते हैं। उज्जैन में प्रथम रीजनल इंडस्ट्री में लगभग 12170 करोड़ रुपए का निवेश और 26000 से अधिक नवीन रोजगार उपलब्ध होना संभावित है। विभिन्न जिलों में 10 हजार 64 करोड़ रुपए के निवेश से स्थापित होने वाले 61 औद्योगिक इकाइयों का लोकार्पण भूमि पूजन किया गया है।
जनवरी में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट आयोजन होगा। मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना को और प्रभावी बनाया जाएगा। उद्योग क्षेत्र के लिए 4190 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। ग्रामीण विकास के लिए 27870 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है। हर साल जल गंगा संवर्धन अभियान जैसी गतिविधियां संचालित की जाएगी।
स्वच्छ भारत मिशन योजना के लिए 500 करोड़ रुपए रखे गए हैं। प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के लिए 300 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। मध्यान भोजन 1400 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। रसोइयों का मानदेय 400 रुपये प्रति माह से बढ़कर 3400 किया गया है।
मनरेगा के लिए 3500 करोड़ रुपए रखे गए हैं। ग्रामीण आजीविका मिशन के लिए 800 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के लिए 1800 और इन सड़कों के नवीनीकरण के लिए 900 करोड़ रुपए प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए 4000 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा गया।
नगरीय क्षेत्रों में जन भागीदारी के माध्यम से दो संरचना विकास के लिए मुख्यमंत्री जन सहभागिता निर्माण योजना तथा प्रदेश के शहरी क्षेत्र में नागरिकों के स्वास्थ्य जीवन यापन के लिए नगर वनीकरण योजना लागू की जाएगी।
2028 में उज्जैन में सिंहस्थ मेला आयोजित होगा। इसके लिए 10 जिलों में आधारभूत संरचनाओं को विकसित करने के लिए 500 करोड़ रुपए रखे गए हैं। उज्जैन तथा जबलपुर शहर को आगामी तीन वर्ष में केंद्र सरकार से 270 करोड़ रुपए मिलेंगे।
शहरों के मास्टर प्लान की सड़कों के लिए 250 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा गया है। कायाकल्प योजना के लिए नगरीय क्षेत्र में आदर्श संरचना निर्माण योजना के लिए 1100 करोड़, मुख्यमंत्री अधोसंरचना विकास योजना के अंतर्गत 1700 करोड़ रुपये के निर्माण कार्य चल रहे हैं। प्रधानमंत्री की बस योजना अंतर्गत इंदौर, भोपाल, जबलपुर, ग्वालियर, उज्जैन और सागर में 552 बसों का संचालन किया जाएगा।
भोपाल और इंदौर में मेट्रो रेल का संचालन शीघ्र प्रारंभ होगा। प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी में सभी निकायों को सम्मिलित किया गया है। स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत प्रदेश के सभी शहरों में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन एवं जल प्रबंधन के लिए आगामी 5 वर्ष में 5000 करोड़ रुपए का निवेश होगा।
विधायकों को ई-ऑफिस योजना अंतर्गत प्रति विधायक 500000 रुपये उपलब्ध कराए जाएंगे। ई-विधान, ई-कैबिनेट, ई-विधायक ऑफिस बनाने की कार्य योजना का क्रियान्वयन जल्द किया जाएगा। सहकारी संस्थाओं के कंप्यूटरीकरण के लिए 32 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा गया है। वन एवं पर्यावरण के लिए 4725 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा है।
वीर भारत न्यास स्थापित किया जा रहा है। भगवान श्री राम ने वनवास के दौरान प्रदेश के विभिन्न स्थानों से पथ गमन किया था। उन्हें चिन्हित कर विकसित किया जाएगा, श्री कृष्ण पाथेय योजना लागू होगी।
मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना के लिए 50 करोड़ रुपए का प्रावधान रखा है। संस्कृति विभाग का बजट 1081 करोड रुपए प्रस्तावित किया गया है। प्रदेश में वर्ष 2030 में 11 करोड़ पर्यटकों का आगमन हुआ, जो एक कीर्तिमान है। पर्यटकों की सुविधा के लिए 666 करोड़ रुपये का प्रविधान रखा है।
पुलिस आवास के लिए 367 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। 7500 पुलिसकर्मियों की भर्ती अंतिम चरण में है। गृह विभाग के लिए 11292 करोड़ रुपए का बजट प्रावधान रखा गया है। जो गरीब कैदी अर्थ दंड नहीं भरने के कारण जेल में सजा काट रहे हैं, उनकी रिहाई के लिए सरकार जुर्माना भरेगी। इस वर्ष से गरीब कैदियों को वित्तीय सहायता देने की नई योजना प्रारंभ होगी। संबल योजना के लिए 600 करोड़ रोड रुपए का प्रावधान रखा है।