पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री का निधन हो गया है। 95 साल की उम्र में प्रकाश सिंह बादल ने चंडीगढ़ के अस्पताल में आखिरी सांस ली। शुक्रवार सुबह तबीयत बिगड़ने के बाद उन्हें मोहाली के प्राइवेट हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था। वे 5 बार पंजाब के मुख्यमंत्री रह चुके हैं।
पिछले विधानसभा चुनाव के बाद से निष्क्रिय
बादल 2022 में पंजाब विधानसभा का चुनाव हार गए थे। यह उनके राजनीतिक करियर की पहली हार थी। अधिक उम्र के कारण वे चुनाव लड़ना नहीं चाहते थे, लेकिन बेटे सुखबीर बादल के कहने और पंजाब में अकाली दल की दयनीय स्थिति को देखते हुए प्रकाश सिंह बादल चुनावी मैदान में उतरे थे।
सबसे कम उम्र के सरपंच और सबसे अधिक उम्र के उम्मीदवार
प्रकाश सिंह बादल ने साल 1947 में राजनीति शुरू की थी। उन्होंने सरपंच का चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। तब वे सबसे कम उम्र के सरपंच बने थे। 1957 में उन्होंने पहला विधानसभा चुनाव लड़ा। 1969 में उन्होंने दोबारा जीत हासिल की। 1969-70 तक वे पंचायत राज, पशु पालन, डेयरी आदि मंत्रालयों के मंत्री रहे।
इसके अलावा वे 1970-71, 1977-80, 1997-2002 में पंजाब के मुख्यमंत्री बने। वे 1972, 1980 और 2002 में विरोधी दल के नेता भी बने। मोरारजी देसाई के प्रधानमंत्री रहते वे सांसद भी चुने गए। 2022 का पंजाब विधानसभा चुनाव लड़ने के बाद वे सबसे अधिक उम्र के उम्मीदवार भी बने।